गुमला पुलिस ने अंतरराज्यीय बाइक चोरी गिरोह का पर्दाफाश किया है। पुलिस ने पांच आरोपियों को गिरफ्तार करते हुए उनके पास से चोरी की छह मंहगी बाइक बरामद की हैं। पकड़े गए आरोपियों में कोडरमा के एक सिपाही का बेटा भी शामिल है। गिरोह फर्जी ऑनर कार्ड बनाकर चोरी की बाइक को ओएलएक्स के माध्यम से बेचता था।
कैसे पकड़ा गया गिरोह?
गुमला के एसडीपीओ सुरेश प्रसाद यादव ने बताया कि शहर के शांतिनगर इलाके में छापेमारी के दौरान महात्मा उरांव और नितेश उरांव को गिरफ्तार किया गया। पूछताछ में उन्होंने बताया कि चोरी की बाइक के दस्तावेज सूरज कुमार नामक व्यक्ति को दिए गए थे, जो एडिटिंग के जरिए फर्जी ऑनर कार्ड तैयार करता था। इसके बाद पुलिस ने टोटो और लोहरदगा में छापेमारी कर सूरज कुमार, अभय और मुकेश को भी गिरफ्तार कर लिया।
गिरोह का कार्यप्रणाली
- गिरोह महंगी बाइक चोरी करता था।
- चोरी की गई बाइकों के फर्जी कागजात तैयार कर ऑनर कार्ड बनाते थे।
- इसके बाद बाइक को ओएलएक्स पर बेच दिया जाता था।
बरामदगी और गिरफ्तारी
- बरामद बाइकें: चोरी की गई छह मंहगी बाइक।
- गिरफ्तार आरोपी: महात्मा उरांव, नितेश उरांव, सूरज कुमार, अभय और मुकेश।
- अभय का परिवारिक बैकग्राउंड: अभय कुमार के पिता कोडरमा में सिपाही के पद पर कार्यरत हैं।
जांच में खुलासे जारी
पुलिस ने बताया कि गिरोह की अन्य गतिविधियों की भी जांच की जा रही है। कुछ बाइक पहले ही बेची जा चुकी हैं, जिनकी लोकेशन का पता लगाया जा रहा है। इस गिरोह ने गुमला, रांची और लोहरदगा समेत अन्य जगहों पर चोरी की घटनाओं को अंजाम दिया है।
गिरफ्तारी के बाद आरोपियों ने पुलिस को बताया कि उनका मुख्य निशाना महंगी बाइक होती थीं। फर्जी कागजात के जरिए ओएलएक्स पर बेचकर वे मोटा मुनाफा कमाते थे। पुलिस ने इनकी संपत्तियों और पिछले रिकॉर्ड की भी जांच शुरू कर दी है।